महामारी के दौरान मेंटेनेंस के अभाव में सड़ रही है एंबुलेंस इधर कांग्रेस विधायक दे रहे हैं नई एंबुलेंस। कुछ दिनों में इनका भी ऐसा हश्र नहीं हो कांग्रेस ।

देवास =देवास ही नहीं प्रदेश के अधिकांश जिलों में जब भी किसी हॉस्पिटल की सरकारी एंबुलेंस खराब हो जाती है तो उसे एक दो बार सुधर वाने के बाद भंगार में खड़ी कर दी जाती है देवास शहर में ही साईं बाबा के मंदिर के समीप बने स्थान पर कई एंबुलेंस और 108 वाहन सड़ रहे हैं । प्रथम दृष्टया देखा जाए तो इनमें कई वाहन तो ऐसे हैं जिन्हें थोड़े से मेंटेनेंस के बाद सुधार के बाद काम में लिया जा सकता है लेकिन स्वास्थ्य विभाग के जवाबदार अधिकारियों ने आज तक इस काम में कोई रुचि ही नहीं ली । शहर जिला कांग्रेस अध्यक्ष मनोज राजानी व प्रवक्ता सुधीर शर्मा ने बताया कि जब हमने साईं बाबा के मंदिर के समीप जाकर देखा तो वहा जो गाड़ियां भंगार हो रही है उनमें से कुछ तो ऐसे वाहन है जो कुछ माह पूर्व ही उपयोग में आ रहे थे अगर उनमें थोड़ा बहुत मेंटेनेंस कर लिया जाए काम करवा लिया जाए तो वे भी चलने योग्य हो सकती हैं लेकिन सीएमएचओ की लापरवाही या स्वास्थ्य अधिकारी की लापरवाही के चलते यह काम में आने वाले वाहन भंगार हो रहे हैं ।अगर उन्हें जिला चिकित्सालय में काम में नहीं लिया जा सकता है तो सुधरा कर आसपास के समीपस्थ ग्राम के स्वास्थ केंद्र पर इन्हें इमरजेंसी सेवा के रूप में भेजा जा सकता है जो वहीं स्वास्थ्य केंद्र पर खड़ी रहें और ग्रामीण क्षेत्र के मरीजों को तत्काल जिला हॉस्पिटल ला सके लेकिन दूरदर्शिता पूर्ण कोई भी निर्णय आज तक स्वास्थ्य विभाग ने लिया ही नहीं है एक और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ जी के निर्देश पर कांग्रेस विधायक अपनी विधायक निधि से दो-दो एंबुलेंस हॉस्पिटलों को दे रहे हैं हमारा अनुरोध है कि इन एंबुलेंस का समय समय पर मेंटेनेंस किया जाए नई नई गाड़ियां हैं अगर अच्छा रखरखाव हुआ तो 5 साल तक यह वाहन लगातार चलते रहेंगे अगर लापरवाही की तो साल दो साल में ही यह वाहन भी वापस जहां पुराने भंगार हो रहे वहां खड़े हो जायेगे कांग्रेस ने कलेक्टर श्री शुक्ला से मांग की है कि वह तत्काल ही भंगार में पड़े इन वाहनों को दिखाएं और जो कम लागत में शीघ्र ठीक हो सकते हैं उन्हें ठीक करवाएं एवं ग्रामीण क्षेत्र के उप स्वास्थ्य केंद्र में भिजवा दें जो कोरोनावायरस में इमरजेंसी सेवा के काम आ सके।

You may have missed